Pakistan News Today: पाकिस्तान में उठे संकट के चार संभावित रास्ते

क्या पाकिस्तान की हालत सीरिया जैसी होगी या फिर सेना रचेगी तख्तापलट की पटकथा?;

Update: 2025-05-09 08:24 GMT

Pakistan News Today: भारत-पाक तनाव और पहलगाम हमले के बाद पाकिस्तान में राजनीतिक, सैन्य और आर्थिक मोर्चे पर उथल-पुथल तेज हो गई है। असीम मुनीर के नेतृत्व पर सवाल उठ रहे हैं और सेना के भीतर असंतोष के सुर तेज हो गए हैं। इस पृष्ठभूमि में पाकिस्तान चार संभावित स्थितियों की ओर बढ़ सकता है – सैन्य तानाशाही, सीरिया जैसी अराजकता, सीमित युद्ध के दबाव में टूटन या पूर्ण विभाजन।

पाकिस्तान में सैन्य तख्तापलट की संभावना, लोकतंत्र हो सकता है खत्म

पाकिस्तान के इतिहास पर नजर डालें तो सेना ने कई बार सत्ता पर कब्जा किया है – 1958, 1977 और 1999 इसके उदाहरण हैं। मौजूदा हालात में सेना प्रमुख असीम मुनीर के खिलाफ आवाजें बुलंद हो रही हैं। मार्च 2025 में सेना के कई जूनियर अफसरों ने एक खुला पत्र जारी कर मुनीर के इस्तीफे की मांग की थी। इस पत्र में 1971 की शर्मनाक हार की तुलना करते हुए लिखा गया कि मुनीर की नीतियों ने सेना की साख गिरा दी है।

सोशल मीडिया रिपोर्ट्स के मुताबिक करीब 500 जवानों ने सामूहिक रूप से इस्तीफा दिया, हालांकि आधिकारिक पुष्टि नहीं हुई। सेना के भीतर गहराती खाई एक नए सैन्य नेतृत्व के उभार की ओर इशारा कर रही है, जो कि सीधे तख्तापलट के रूप में सामने आ सकता है।

Pakistan News Today: पाकिस्तान बन सकता है नया सीरिया – अराजकता और गृहयुद्ध की ओर बढ़ते कदम

तेजी से बिगड़ती आर्थिक स्थिति, बढ़ती बेरोजगारी और कर्ज संकट ($73 अरब डॉलर का भुगतान 2025 तक) ने पाकिस्तान को सामाजिक विस्फोट की दहलीज पर ला खड़ा किया है। बलूचिस्तान और खैबर पख्तूनख्वा जैसे इलाकों में पहले से ही अलगाववादी गतिविधियां तेज हैं। बलूच लिबरेशन आर्मी (BLA) और पश्तून तहरीक (PTM) जैसी ताकतें अस्थिरता फैला सकती हैं।

साथ ही, TTP और ISIS-खोरासान जैसे आतंकी संगठन स्थिति को सीरिया के ISIS जैसे हालात में बदल सकते हैं। सेना का फोकस भारत से निपटने में लगने पर आंतरिक मोर्चे पर अराजकता की आशंका बढ़ जाती है।

भारत करेगा ‘लंबे संघर्ष’ की रणनीति – पाकिस्तान खुद टूटने को मजबूर होगा

भारत पहलगाम हमले के जवाब में सीधे युद्ध के बजाय सीमित संघर्ष को लंबा खींचने की नीति अपना रहा है। सिंधु जल संधि को रोकना और 'ऑपरेशन सिंदूर' जैसे कदम इसका संकेत हैं। सीमा पर बढ़ी गतिविधियों से पाकिस्तान पर सैन्य और आर्थिक दबाव बढ़ेगा।

इससे पाकिस्तान की सेना भारत से निपटने में उलझी रहेगी और अंदरूनी अस्थिरता को नियंत्रित करने की क्षमता कमजोर हो जाएगी। लंबे संघर्ष से पाकिस्तान की आर्थिक रीढ़ टूट सकती है और देश खुद ब खुद बिखरने की कगार पर पहुंच सकता है।

Pakistan News Today: पाकिस्तान टूट सकता है तीन या अधिक हिस्सों में

अगर भारत और पाकिस्तान में पूर्ण युद्ध की स्थिति बनी तो पाकिस्तान का पुनः विभाजन संभव है। बलूचिस्तान, सिंध और खैबर पख्तूनख्वा जैसे प्रांत स्वतंत्रता की घोषणा कर सकते हैं। कहा जा रहा है कि भारत और अफगानिस्तान जैसे देश इन आंदोलनों को समर्थन दे सकते हैं।

2023 में पाकिस्तान के विदेशी मुद्रा भंडार $4.3 बिलियन पर थे, और 2025 तक $73 बिलियन के कर्ज चुकाने की चुनौती है। इस स्थिति का भारत लाभ उठाकर नए बनने वाले देशों को तत्काल मान्यता दे सकता है। इससे पाकिस्तान का तीन टुकड़ों में विभाजन एक वास्तविक संभावना बन सकता है।

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